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सोनू सूद की तरह ये भोजपुरी अभिनेत्री भी बनीं मददगार,दुबई में फंसे कामगारों को Flight से घर भेजा

भारत से विदेशों में काम करने गये भारतीय लोगों की नौकरी चली गयी है जिसकी वजह से ये लोग यहां ओर बड़ी मुसीबत का सामना कर रहे हैं और इसी वजह से ये लोग वापस अपने देश लौटना चाहते हैं। वहीं हाल ही में इन लोगों को स्वदेश वापस लाने के लिए बॉलीवुड एक्टर सोनू सूद ने मदद की थी। वहीं इस बीच अब एक फिल्म अभिनेत्री विदेशों में फंसे हुए लोगों की मदद के लिए आगे आई है।

दरअसल, कोरोना वायरस के कारण अन्तराष्ट्रीय उड़ानों पर प्रतिबंध लगाया गया है। जिसकी वजह से विदेशों में बड़ी संख्या का भारतीय प्रवासी कामगार फंसे हुए हैं। वहीं इन लोगों को अपने देश अपने घर वापस लाने के लिए भोजपुरी फिल्म अभिनेत्री कनक पांडेय पूर्वांचल प्रवासी मिलन संस्था की मदद ली और अब इन लोगों की मदद से एक्ट्रेस दुबई में फंसे पूर्वांचल के कामगारों को घर तक पहुंचाने का काम कर रही हैं। वहीं अभिनेत्री कनक पांडेय की मदद से 19 जून से अभी तक 13 फ्लाइट के जरिये तीन हजार लोग दुबई से भारत आ चुके हैं।

सोनू सूद की तरह ये भोजपुरी अभिनेत्री भी बनीं मददगार,दुबई में फंसे कामगारों को Flight से घर भेजा

 

जानकारी के अनुसार, अभिनेत्री कनक पांडेय मूल रूप से तो गोपालगंज, बिहार की रहने वाली हैं। 20 साल से उनका परिवार गीडा में रहता है। उनके पिता आमोद प्राइवेट कंपनी में नौकरी करते हैं। वहीं अभिनेत्री कनक पांडेय की पढाई और बचपन गोरखपुर में बिता जीकी वजह से उनका गोरखपुर से खास रिश्ता बन गया है। वहीं 15 दिन पहले कनक पांडेय दुबई से गोरखपुर पहुंची।

सोनू सूद की तरह ये भोजपुरी अभिनेत्री भी बनीं मददगार,दुबई में फंसे कामगारों को Flight से घर भेजा

दुबई से गोरखपुर आने के बाद अभिनेत्री ने बताया कि वह पूर्वांचल प्रवासी मिलन (पीपीएम) की सह संस्थापक हैं। यूपी, बिहार और झारखंड के रहने वाले 700 अन्य लोग भी पीपीएम से जुड़े हैं। जिनके सहयोग से दुबई में फंसे गोरखपुर, देवरिया, बस्ती, लखनऊ, वाराणसी के अलावा बिहार, झारखंड, पश्चिम बंगाल और राजस्थान के कामगारों को 13 फ्लाइट से घर भेजा गया। किराए का 50 प्रतिशत भुगतान पूर्वांचल प्रवासी मिलन ने किया, शेष रकम प्रवासी कामगारों ने दी।

सोनू सूद की तरह ये भोजपुरी अभिनेत्री भी बनीं मददगार,दुबई में फंसे कामगारों को Flight से घर भेजा

इसी के साथ अभिनेत्री कनक पांडेय ने ये भी बताया कि उनका बचपन गोरखपुर में ही बीता है। शहर के एडी गर्ल्स कॉलेज से उन्होंने इंटरमीडिएट की पढ़ाई पूरी की। बीए में उनका दाखिला महाराणा प्रताप डिग्री कॉलेज में हुआ लेकिन पढ़ाई बीच में छूट गई। गोरखपुर में बीता एक-एक दिन भूलाया नहीं जा सकता। कामकाज से फुर्सत मिलते ही घर चली आती हूं।

आपको बता दें, इस कोरोना की वायरस की वजह से खाड़ी में कई लाख कर्मचारी वापस भारत लौट रहे हैं। वहीं भारत सरकार भी इन लोगों को वंदे भारत मिशन के जरिये वापस स्वदेश ला रही है।